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शीत सत्र: रेणुका से विधायक विनय कुमार बने डिप्‍टी स्‍पीकर

 

हाइलाइट्स

  • कांग्रेस सरकार बनने के एक साल बाद हुई तैनाती

  • सीएम ने रखा प्रस्‍ताव, डिप्‍टी सीएम ने किया समर्थन

  • चंद्र कुमार और जयराम ठाकुर ने भी रखा विनय के नाम का प्रस्‍ताव

टीएनसी, संवाददाता


तपोवन। हिमाचल में कांग्रेस सरकार बनने के एक साल बाद डिप्टी स्पीकर की तैनाती की गई है। रेणुका से विधायक विनय कुमार सर्वसम्मति से हिमाचल प्रदेश विधानसभा के उपाध्यक्ष चुने गए हैं। वह‍ तीन बार विधायक रह चुके हैं। उनके नाम का प्रस्‍ताव मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने किया, जिसका समर्थन उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री ने किया। कृषि मंत्री चंद्र कुमार और नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने भी विनय कुमार के नाम का प्रस्ताव किया।

धर्मशाला के तपोवन में चौदहवीं विधानसभा का चौथा सत्र


हिमाचल विधानसभा का पांच दिवसीय शीत सत्र मंगलवार को सुबह 11:00 बजे शुरू हुआ। धर्मशाला के तपोवन में चौदहवीं विधानसभा का यह चौथा सत्र है। 19 से 23 दिसंबर तक सत्र चलेगा। स्पीकर कुलदीप सिंह पठानिया ने सभी सदस्यों से सदन में रचनात्मक सहयोग की अपील की। इसके बाद राष्ट्रगान से सदन की कार्यवाही शुरू हुई। मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने राजेश धर्माणी और यादविंद्र गोमा को मंत्रिमंडल में शामिल किए जाने का सदन में परिचय दिया। इसके बाद दिवंगत विधानसभा सदस्यों के निधन पर शोक जताया गया। चंबा के विधायक बालकृष्ण चौहान के निधन पर सदन में शोकोद्गार प्रस्ताव पेश किया। सीएम सुक्खू, नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने शोक प्रस्ताव पर चर्चा में भाग लिया।

 

स्‍पीकर कुलदीप सिंह पठानिया  ने कहा कि शीतसत्र के पहले दिन की कार्रवाई सुचारू रूप से चल रही है। आज सर्व सम्‍मति से विनय कुमार को विधानसभा उपाध्‍यक्ष चुन लिया गया है। इसके लिए उन्‍हें बधाई। आगामी दिनों में सदन की कार्रवाई में समय बढ़ाना पड़े तो समय बढ़ाया जाएगा। ताकि हिमाचल के महत्‍वपूर्ण विकासात्‍मक विषयों पर विस्‍तृत रूप से चर्चा हो सके।

 

जयराम ठाकुर ने इस मौके पर कहा कि हिमाचल विधानसभा की उच्च परंपराएं रही हैं और यहां होने वाली चर्चाओं का स्तर काफी ऊंचा रहा है। ऐसे में इस परिपाटी को बनाए रखना जरूरी है और इसमें विधानसभा अध्यक्ष और उपाध्यक्ष की अहम भूमिका है। उन्होंने उम्मीद जताई कि उपाध्यक्ष विपक्ष को अधिक से अधिक मौका सदन में बोलने का मौका देंगे।

 

मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि वह विनय कुमार को स्कूल और युवा कांग्रेस के समय से जानते हैं। उन्होंने कहा कि रेणुका के लोगों को आजादी के 75 सालों में पहली बार अपने विधायक को किसी संवैधानिक पद पर देखने का मौका मिला है जो इस क्षेत्र के लिए गर्व की बात है। उन्होंने उम्मीद जताई कि विनय कुमार अपनी जिम्मेवारी को बखूबी निभाएंगे।

 

विधानसभा उपाध्‍यक्ष विनय कुमार ने कहा कि आज सर्वसहमति से उन्‍हें चुना गया है। जिसके लिए मुख्‍यमंत्री, उपमुख्‍यमंत्री, नेता प्रतिपक्ष और अन्‍य सदन सदस्‍यों का आभार। पहली बार बड़ी जिम्‍मेवारी मिली है। उम्‍मीदों पर खरा उतरने की कोशिश करूंगा। गर्व है कि वह हिमाचल निर्माता वाईएस परमार के विधानसभा क्षेत्र से संबंध रखता हूं। पहले दिन विधानसभा का शीतसत्र जारी है।

साल 2012 में पहली बार बने विधायक


विनय कुमार तीन बार के विधायक है। वह साल 2012 में पहली बार विधानसभा पहुंचे। साल 2017 दूसरी बार विधायक चुने गए। साल 2022 में निरंतर तीसरी बार चुनाव जीतकर विधानसभा पहुंचे हैं। विनय से पहले उनके पिता ड्रॉ. प्रेम सिंह छह बार विधायक रह चुके हैं।

वीरभद्र सरकार में रहे सीपीएस


पूर्व वीरभद्र सरकार में विनय कुमार मुख्य संसदीय सचिव रहे हैं। लिहाजा उन्हें मंत्री की रेस में माना जा रहा था, लेकिन सिरमौर जिले के ही शिलाई से हर्ष वर्धन के मंत्री बनने की वजह से विनय कुमार मंत्री बनने से चूक गए थे। अब उनकी ताजपोशी संवैधानिक पद पर की गई है।

सिरमौर को दूसरा बड़ा पद


विनय कुमार का जन्म 12 मार्च 1978 को मैन बाग सिरमौर में हुआ। विनय की ताजपोशी से उनके समर्थकों में उत्साह है। सुक्खू सरकार में सिरमौर जिले को दूसरा बड़ा पद मिला है। इससे पहले कांग्रेस सरकार में संसदीय कार्य मंत्री एवं इंडस्ट्री मिनिस्टर हर्ष चौहान भी सिरमौर जिले के शिलाई विधानसभा हल्के से हैं।

Akhilesh Mahajan

“Work your craft; until it becomes an art form.”

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